हेमंत सोरेन जी की गिरफ्तारी

आखिर हेमंत सोरेन जी को गिरफ्तार होना ही पङा। जमीन घोटाले में वो बुरी तरह घिरे हुए थे और ईडी के बार बार बुलाने के बावजूद वो हाजिर नहीं हो रहे थे। 25 जनवरी को ईडी ने उनसे पूछताछ की थी और तब भी गिरफ्तारी की आशंका थी। बाद में ईडी ने उनके दिल्ली आवास पर रेड की जहां वे नहीं मिले और 48 घंटे बाद दूसरी गाड़ी से रांची पहुंचे। उन पर खनन लीज घोटाला का केस भी है। चुनाव आयोग में अलग से एक मामला दर्ज है।


हेमंत सोरेन शिबू सोरेन जी के पुत्र हैं। शिबू सोरेन भी झारखंड के मुख्यमंत्री रहे हैं और यूपीए सरकार में कोयला मंत्री रहे हैं। उनके कोयला मंत्री रहते हुए बहु चर्चित कोयला घोटाला हुआ था।


दक्षिणी बिहार के 10-12 जिला लेकर 2000 में झारखंड राज्य बनाया गया था। संपूर्ण झारखंड छोटा नागपुर पठार पर स्थित है। खनन और वन सम्पदा इसके मुख्य स्रोत है। स्टील और कोयला को लेकर प्रसिद्ध शहर जमशेदपुर झारखंड में ही है। रांची, बोकारो और हजारीबाग अन्य शहर है। मुंडा और भुमिज यहां दो जन जातियां है। पूरा झारखंड आदिवासी बहुल राज्य है।


चर्चा यह चल रही थी कि वे शायद अपनी इंजिनियर पत्नी को मुख्यमंत्री बना कर परिवार वाद की श्रंखला को आगे बढ़ाएंगे लेकिन एन वक्त पर उनके गठबंधन को अकल आ गई और शिबू सोरेन जी के सहयोगी रहे चंपई सोरेन जी को मुख्यमंत्री बनाया गया। चंपई किसान परिवार से ताल्लुक रखने वाले इमानदार और अनुशासित राजनेता हैं।


लोकसभा चुनाव पूर्व कई राजनेताओं को अभी खतरा है। दरअसल राजनीति में थोङी लापरवाही आपका खेल खराब कर सकती है। संभलकर नहीं रहे तो जेल यात्रा तय है। मोदी ने यह जो ट्रैंड चलाया है, उससे राजनीति में शुचिता की आस जगी है। 


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